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सोलन, 10 दिसंबर

शूलिनी विश्वविद्यालय के बौद्धिक संपदा अधिकार (IPR) सेल और संस्थागत नवाचार परिषद (IIC) ने बौद्धिक संपदा अधिकारों और पेटेंट प्रक्रिया पर राजीव गांधी नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ इंटेलेक्चुअल प्रॉपर्टी मैनेजमेंट (RGNIIPM) नागपुर के साथ मिलकर एक वेबिनार का आयोजन किया।
वेबिनार में मुख्य अतिथि वक्ता डॉ। भरत एन सूर्यवंशी, पेटेंट और डिज़ाइन नागपुर के सहायक नियंत्रक थे।
वेबिनार का उद्घाटन कुलपति प्रो पीके खोसला द्वारा किया गया । उन्होंने सभी छात्रों, प्रतिभागियों और संकाय सदस्यों को सामाजिक लाभ के लिए उच्च गुणवत्ता वाले पेटेंट दाखिल करने के लिए प्रेरित किया।
आईपीआर सेल के समन्वयक डॉ। कमल देव ने स्पीकर और सभी छात्रों, प्रतिभागियों और सहयोगियों का स्वागत किया। उन्होंने कहा कि अनुसंधान विद्वानों और छात्रों को आईपीआर की सुरक्षा के महत्व को समझना चाहिए, ताकि आज की ज्ञान आधारित अर्थव्यवस्था में प्रतिस्पर्धी और प्रासंगिक बने रहें।
पेटेंट और डिज़ाइन, RGNIIPM, नागपुर के सहायक नियंत्रक डॉ। भरत एन। सूर्यवंशी ने बौद्धिक संपदा अधिकारों और पेटेंट प्रक्रिया के बारे में विस्तृत जानकारी दी और कहा कि सभी प्रतिभागियों और संकाय सदस्यों को बौद्धिक संपदा अधिकारों के प्रति अपने दृष्टिकोण का अनुसरण करना चाहिए। उन्होंने आगे कहा कि अगर किसी भी प्रतिभागी और विश्वविद्यालय को आईपीआर के क्षेत्र में किसी भी तरह की मदद की जरूरत है, तो वह हर संभव मदद करेंगे । उन्होंने औषधीय पेटेंट और अन्य पेटेंट के क्षेत्र में कई ऐतिहासिक निर्णय दिए हैं।

शूलिनी आईपीआर सेल के सह-समन्वयक सौरभ अग्रवाल भी वेबिनार में मौजूद थे और लगभग 200 छात्रों और संकाय सदस्यों ने इस वेबिनार में भाग लिया। हिमांशु शर्मा, विश्लेषक कानून और आईपीआर सेल, शूलिनी विश्वविद्यालय द्वारा धन्यवाद प्रस्ताव दिया गया।