सोलन, 18 सितंबर
शूलिनी विश्वविद्यालय द्वारा चलाए जा रहे कौशल संवर्द्धन कार्यक्रम SPRINT में दो दिवसीय सत्र में 600 से अधिक छात्रों ने भाग लिया, जो शुक्रवार को संपन्न हुआ।
सभी स्ट्रीम के तीसरे सेमेस्टर के स्नातक छात्रों ने वर्चुअल इवेंट में भाग लिया।
आत्म-विकास विषय होने के नाते, छात्रों के लिए शारीरिक और मानसिक दोनों रूप से खुद को स्वस्थ रखने के लिए विभिन्न विषयों पर सत्र आयोजित किए गए।
सकिल प्ररोग्रैशन रैपिड इंटेंसिव इनोवेटिव ट्रेनिंग (SPRINT), आभासी योग सत्रों के साथ शुरू हुआ। रचनात्मकता, प्रेरणा और सोशल, मीडिया के अति-उपयोग , “बेहतर जीवन” जीने के लिए सुझावों के अलावा अन्य सत्रों को भी छात्रों ने खूब सराहा।कार्यक्रम के दौरान शामिल किए गए महत्वपूर्ण विषयों पर एक प्रश्नोत्तरी भी आयोजित की गई।
कुलपति प्रो पी के खोसला ने इस कठिन परिस्थिति में आयोजन टीम के प्रयासों की सराहना की और छात्रों को खुद को स्वस्थ रखने के लिए प्रेरित किया और उन्हें व्यक्तिगत विकास पर काम करने के लिए भी प्रोत्साहित किया।
SPRINT की निदेशक श्रीमती पूनम नंदा ने कहा कि सत्र सभी के लिए अत्यधिक शिक्षाप्रद था। “ हमारा प्रयास यह था कि छात्रों को वास्तविक जीवन में SPRINT में भाग लेने का अहसास दिया जाए जैसे कि वे वास्तव में परिसर में मौजूद हो। छात्रों ने औपचारिक पोशाक पहन कर SPRINT में भाग लिया और चैट विकल्प के साथ चर्चा में सक्रिय रूप से भाग लिया।
SPRINT कार्यक्रम की गतिविधियों का एक अभिन्न अंग था जहाँ छात्रों ने अपनी प्रस्तुतियों को तैयार करने के लिए आभासी कमरों और टीमों में प्रवेश किया। उनकी टीमों द्वारा बनाई गई प्रस्तुतियों और वीडियो को छात्रों द्वारा अपलोड किया गया। “इस प्रकार के अभ्यास न केवल टीम में काम करने को बढ़ावा देते हैं बल्कि नेतृत्व और संचार कौशल को भी बढ़ाते हैं, छात्र समय और संघर्ष प्रबंधन भी सीखते हैं।
यह कार्यक्रम उन्हें न्यू नॉर्मल ’के लिए एक्सपोज़र भी देता है, जो कि हमें अपने जीवन में अपनाने की आवश्यकता है”, श्रीमती नंदा ने कहा।