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श्रम एवं रोजगार मंत्रालय , भारत सरकार आजादी का अमृत महोत्‍सव के दौरान 7-13 मार्च,2022 तक श्रम कानून वैधानिक अनुपालन सप्‍ताह का आयोजन कर रहा है । इस सप्‍ताह के दौरान मंत्रालय श्रमिकों का उनके अधिकारों से अवगत करवाने के लिए विभिन्‍न संवाद सत्रों का आयोजन कर रहा है ।

इस श्रृंखला में आज एसजेवीएन कारपोरेट कार्यालय में श्री महेश पंवार श्रम प्रवर्तन अधिकारी , शिमला द्वारा एसजेवीएन के कर्मचारियों , यूनियन से संबंधित पदाधिकारियों के लिए एक संवाद संत्र का आयोजन किया गया । इस अवसर पर श्री एस.पटनायक, कार्यकारी निदेशक(मानव संसाधन) एवं श्री शैलेन्‍द्र सिह महाप्रबंधक(मानव संसाधन) एसजेवीएन के कारपोरेट कार्यालय तथा विभिन्‍न परियोजनाओं से आए अन्‍य अधिकारियों एवं कर्मचारियों सहित उपस्थित थे ।

श्री महेश पंवार द्वारा प्रस्‍तुत पावर प्‍वाईंट प्रेजेंटेशन में श्रमिकों को उनके अधिकारों से अवगत करवाया गया । श्री पंवार की यह प्रेजेंटेशन बेहद आकर्षक एवं ज्ञानवर्धक रही तथा श्री पंवार द्वारा उपस्थिति श्रमिकों की शंकाओं का भी निदान किया गया ।

श्री पवार का एसजेवीएन कारपोरेट कार्यालय में स्‍वागत करते हुए श्री शैलेन्‍द्र सिंह ने कहा कि एसजेवीएन हमेशा ही श्रम कानूनों का अनुपालन करता है तथा सुनिश्चित करता है कि निगम से संबंधित कांट्रेक्‍टर भी इनका पूरी तरह से अनुपालन करें ।

श्री महेश पंवार ने अपने वक्‍तव्‍य में एसजेवीएन तथा कार्यक्रम को आयोजित करने वाले अधिकारियों एवं कर्मचारियों के प्रति धन्‍यवाद व्‍यक्‍त किया । उन्‍होंने कहा कि यह कार्यक्रम श्रम एवं रोजगार मंत्रालय द्वारा आजादी का महोत्‍सव के दौरान किए जा रहे विभिन्‍न कार्यक्रमों का एक हिस्‍सा है ।

भारत अपने आजादी के 75 वर्षों के उपलक्ष्‍य में वर्ष भर चलने वाले आजादी के महोत्‍सव में इस तरह के विभिन्‍न कार्यक्रमो का आयोजन कर रहा है ।

एसजेवीएन ने माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के 2030 तक गैर-जीवाश्म ईंधन स्रोतों से 500 गीगावाट स्थापित क्षमता प्राप्त करने की प्रतिबद्धता को पूरा करने के लिए नवीकरणीय ऊर्जा के दोहन की तीव्र गति से यात्रा आरंभ की है। श्री नन्‍द लाल शर्मा, अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक के गतिशील नेतृत्व में एसजेवीएन ने गत दो वर्षों में कई नई परियोजनाएं हासिल की हैं, और अभी भी कई परियोजनाएं पाइपलाइन में है। एसजेवीएन प्रबंधन ने अपने साझा विजन लक्ष्यों को वर्ष 2023 तक 5000 मेगावाट, 2030 तक 25000 मेगावाट तथा वर्ष 2040 तक 50000 मेगावाट तक संशोधित और अपग्रेड किया है।